सत्यसंधान- RuhRahasya
सत्यसंधान
🔥 सत्यसंधान – हर फ़ाइल एक श्राप है… कुछ केस बंद नहीं होते… उन्हें बस दफना दिया जाता है। और तब आता है — जयवर्धन। ना पुलिस, ना पत्रकार। वो है एक ऐसा खोजी, जो सच की तलाश में मरघट तक चला जाता है। > एक प्रोफेसर की मौत… जो पहले ही लिख दी गई थी। एक हॉस्टल कमरा… जो अब भी किसी का इंतज़ार कर रहा है। एक पेंटिंग… जिसमें स्याही नहीं, लहू बहता है। और एक किताब… जो पढ़ते ही ज़िंदा जला देती है।

ये केस नहीं… सत्यसंधान है। हर फाइल, एक ऐसा रहस्य है जो जयवर्धन को सिर्फ जवाब नहीं… शाप, बलि, और मौत की दहलीज़ पर खड़ा करता है। और जब सब हार मान लेते हैं, तब वो पूछता है — “क्या तुम भी उसी भ्रम में जी रहे हो… जिसे तुम ‘सच’ समझते हो?”
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